किसान आंदोलन को अब राजनीतिक दलों का समर्थन मिला
टिकैत के लिए आया पानी और महा
हजारों की संख्या में किसान गाजीपुर बॉर्डर पहुंच रहे हैं। गांवों से किसान राकेश टिकैत के लिए पानी और मट्ठा लाए हैं। बीते दिन से ही राकेश टिकैत अनशन पर हैं और उन्होंने ऐलान किया था कि वो गांव का ही पानी पिएंगे।
महापंचायत न करने की अपील
एसडीएम और सीओ किसानों से बात करने पहुंचे पंचायत स्थल। किसानों को मनाने के प्रयास चल रहे हैं। अभी पंचायत में लोगों को आने दिया जाएगा या रोका जाएगा, इस पर निर्णय नरेश टिकैत से वार्ता के बाद ही होगा। मुजफ़रनगर प्रशासन ने किसान महापंचायत स्थगित करने की अपील की। स्थानीय प्रशासन नरेश टिकैत से महापंचायत ना करने की अपील की है। पुलिस ने दिल्ली की ओर जाने वाली सभी सीमाएं सील कर दी है। वहीं दूसरी ओर बिजनौर में किसानों ने सड़क पर ही रात बिता कर अपना विरोध दर्ज कराया।
खोई सहानुभूति हासिल करने में जुटा मोर्चा
अब आंदोलनरत किसान संगठनों का राष्ट्रीय किसान मोर्चा खोई सहानुभूति को फिर से हासिल करने के लिए परेशान है। आंदोलन स्थल से बड़ी संख्या में किसान वापस लौट रहे हैं। फिर से सहानुभूति हासिल करने के लिए आंदोलनरत किसान संगठन उपवास करने के अलावा एक फरवरी को प्रस्तावित संसद मार्च को वापस लेने की घोषणा की है।
बीएसपी ने की तीन विवादित कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग
बी.एस.पी.ने.देश के आन्दोलित किसानों के तीन विवादित कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग नहीं मानने व जनहित आदि के मामलों में भी लगातार काफी ढुलमुल रवैया अपनाने के विरोध में आज मा.राष्ट्रपति के संसद में होने वाले अभिभाषण का बहिष्कार करने का फैसला लिया है। साथ ही, कृषि कानूनों को वापस लेकर दिल्ली आदि में स्थिति को सामान्य करने का केन्द्र से पुन: अनुरोध तथा गणतंत्र दिवस के दिन हुए दंगे की आड़ में निर्दोष किसान नेताओं को बलि का बकरा न बनाए। इस मामले में यूपी के बीकेयू व अन्य नेताओं की आपत्ति में भी काफी सच्चाई। सरकार ध्यान दे।